इंतज़ार में उनके हमारी आँखें नम होगई,
देखते ही देखते सुबह से रात होगई,,
सोचा था उन्हें हमारे आंसू दिखायेंगे,
पर बिन मौसम बरसात होगई,
और हमारे आंसुओं को बहा ले गई,,
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